बंदूक अपनी और जन हित की सुरक्षा के लिए होती थी, लेकिन कब इसका उपयोग डराकर लुटने के लिए होने लगा पता ही नहीं चला, उसी प्रकार कलम से अपने व जनता के लिए जनहित में नियम बनाए जाते थे, और कलम से इंसाफ किया जाता था, लेकिन आज कलम से कब लूटना शुरू कर दिया पता ही नहीं चला, उसी प्रकार मत (वोट) अपने और बच्चों संग देश के भविष्य निर्माण के लिए होता था, लेकिन कब हमारे मत (वोट) का दुरुपयोग हमारे बच्चों व देश के भविष्य को खराब करने के लिए होने लगा पता ही नहीं चला, कारण एक नहीं अनेक है ... Reeta Bhuiyar

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